Shiv chaisa - An Overview

तुरत षडानन आप पठायउ। लवनिमेष महँ मारि गिरायउ॥

त्राहि त्राहि मैं नाथ पुकारो। येहि अवसर मोहि आन उबारो॥

लिङ्गाष्टकम्

समझनी है जिंदगी तो पीछे देखो, जीनी है जिंदगी तो आगे देखो…।

पूजन रामचंद्र जब कीन्हा। जीत के लंक विभीषण दीन्हा॥

धन निर्धन को देत सदा हीं। जो कोई जांचे सो फल पाहीं॥

अर्थ: हे नीलकंठ आपकी पूजा करके ही भगवान श्री रामचंद्र लंका को जीत कर उसे विभीषण को सौंपने में कामयाब हुए। इतना ही नहीं जब श्री राम मां शक्ति की पूजा कर रहे थे और सेवा में कमल अर्पण कर रहे थे, तो आपके ईशारे पर ही देवी ने उनकी परीक्षा लेते हुए एक कमल को छुपा लिया। अपनी पूजा को पूरा करने के लिए राजीवनयन भगवान राम ने, कमल Shiv chaisamore info की जगह अपनी आंख से पूजा संपन्न करने की ठानी, तब आप प्रसन्न हुए और उन्हें इच्छित वर प्रदान किया।

So, we can surely acquire out jiffy from our hectic routine and pray to Lord Shiva. The biggest spotlight of Shiva Chalisa is that it could be recited by each younger and aged. It could be taken up by Adult men together with Females. Reciting Shiva Chalisa rarely can take few minutes. It could possibly completed even in your residences.

तुरत षडानन आप पठायउ। लवनिमेष महँ मारि गिरायउ॥

जय जय जय अनंत अविनाशी। करत कृपा सब के घटवासी॥

O Wonderful Lord, consort of Parvati You are most merciful. You always bless the very poor and pious devotees. Your wonderful variety is adorned Using the moon with your forehead and on your own ears are earrings of snakes’ Hood.

नित्त नेम उठि प्रातः ही, पाठ करो चालीसा।

क्षमहु नाथ अब चूक हमारी ॥ शंकर हो संकट के नाशन ।

अस्तुति चालीसा शिवहि, पूर्ण कीन कल्याण ॥

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